पिता ने बेटी को जन्मदिन के तोहफे में दिया चाँद, ७ पीढ़ियों बाद परिवार में हुई थी बेटी

पिता ने बेटी को जन्मदिन के तोहफे में दिया चाँद, ७ पीढ़ियों बाद परिवार में हुई थी बेटी

आजकल देश तर्रकी तो कर रहा है. कही ऐसे लोग भी है जो आज भी बीटा और बेटी में भेदभाव करते है तो उसी समय, कुछ ऐसे भी है जो अपनी बेटी को उपहार के रूप में चाँद पर जमीन दे दी। यह घटना बिहार के मधुबनी जिले में हुई। दंपति को अपनी बेटी के जन्मदिन को यादगार बनाने का विचार आया। इन माता-पिता ने अपनी बेटी को अप्रत्याशित दसवें जन्मदिन के उपहार के रूप में एक दुर्लभ उपहार दिया।

7 पश्तो के बाद पैदा हुई थी बेटी

बिहार के झंझारपुर में एक निजी नर्सिंग होम चलाने वाले डॉ. सुरविंदर झा और डॉ. सुधा झा ने संयुक्त रूप से अपनी बेटी आस्था भारद्वाज के नाम पर चंद्रमंडल में एक एकड़ जमीन खरीदी और पंजीकृत कर अपनी बेटी को उपहार में दी. बेटी के पिता आस्था भारद्वाज उनके परिवार में पहली बेटी आस्था भारद्वाज बताई जाती है और लगभग सात पीढ़ियों बाद हमारे घर में जन्म लेने वाली पहली लड़की आस्था भारद्वाज है। आस्था के पहली लड़की के रूप में जन्म ने हमें बहुत खुशी दी। इस खुशी को पहचानने योग्य बनाने के लिए उन्होंने चंद्रमा पर जमीन खरीदी और इसे अपनी बेटी के दसवें जन्मदिन के लिए उपहार के रूप में दिया ‘आस्था के पिता कहते हैं।

काफी समय लगा चाँद की जमीन लेने में

हालांकि, यह कहना नहीं है कि चंद्र चक्र में जमीन खरीदना आसान है। वहां एक एकड़ जमीन खरीदने और इसे पंजीकृत करने में लगभग डेढ़ साल लग गए। सुरविंदर ने सबसे पहले कैलिफोर्निया लूना सोसाइटी की वेबसाइट पर सभी प्रकार की कागजी कार्रवाई प्रस्तुत की। यूएसए ने वहां जमीन की कीमतों का पता लगाया, पेपाल ऐप के जरिए रजिस्ट्री शुल्क का भुगतान किया और इस साल 27 जनवरी को आवेदन किया।

टिकट भी है चाँद का

डॉ सुरबिंदर झा ने बताया कि उन्होंने करीब डेढ़ साल पहले चांद पर जमीन खरीदकर बेटी को उपहार देने का सिलसिला शुरू किया था. इसके जवाब में उनके और उनकी बेटी के नाम से पासपोर्ट और वहां के भारतीय दूतावास से क्लीयरेंस ऑर्डर मांगा गया. सोसायटी ने ही दूतावास से सारी प्रक्रियाएं कराकर क्लीयरेंस कोड बनवाया। इसके बाद सोसायटी ने चांद पर जमीन खरीदने की प्रक्रिया की और उन्हें पेपाल एप के जरिए जमीन की कीमत और पंजीकरण शुल्क की राशि का भुगतान कराया।

जमीन के रजिस्ट्री पेपर के साथ ही हमेशा के लिए चांद पर जाने का हवाई टिकट भी उपलब्ध कराया गया है। इस टिकट का इस्तेमाल उनकी बेटी जब चाहे तब कर सकती है।

[ डि‍सक्‍लेमर: यह न्‍यूज वेबसाइट से म‍िली जानकार‍ियों के आधार पर बनाई गई है. Lok Mantra अपनी तरफ से इसकी पुष्‍ट‍ि नहीं करता है. ]

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